26 जनवरी पर शानदार भाषण स्कूल के लिए | 26 January Par Shandar Bhashan

Last updated on July 20th, 2024 at 10:46 pm

दोस्तों 26 January पर भाषण, स्कूल में बोले और गणतंत्र दिवस पर धमाकेदार शानदार प्रस्तुति दे, भाषण कैसे देना है इसका विडियो, इसी भाषण के अंत में मिलेगा, जिससे आपको भाषण बोलने में आसानी होगी.

भाषण देना एक कला है और 26 जनवरी पे भाषण दे रहे है तो आप जरुर ख्याल रखे की, आपके शब्दों का उच्चारण शुद्ध हो, हमने भाषण को बोलकर रिकॉर्ड किया है विडियो फोर्मेट में, आप देखे और साथ साथ बोलने का प्रयास करे.

26 जनवरी पर भाषण यहाँ से शुरू करे

ये दिन दर्ज हो गया इतिहास में

मिल गया नया संविधान हमें

जवानो की कुर्बानियों पर रहेगा

सदा सदा अभिमान हमें

आज २६ जनवरी के इस अवसर पर स्कूल में आप एक शानदार भाषण बोले, ये नया भाषण आपके लिए बड़ी मेहनत से लिखा है, पसंद आए तो लाइक और सब्सक्राइब जरुर कर लेना की,

ना पूछो जमाने से की क्या हमारी कहानी है

हमारी पहचान तो बस इतनी है की हम हिन्दुस्तानी है

ये होता है देश भक्ति का जज्बा, जो देश प्रेम की भावना को उजागर कर देता है, हमारे मन में बस एक ही बात होनी चाहिए की

26 january speech

भूख, गरीबी और लाचारी को

इस धरती से मिटाना है

भारत के हर भारतवासी को

उसका अधिकार दिलाना है

आज हम आजाद हो गए लेकिन, भूख गरीबी और जात पात उंच नीच की वो बाते, आज भी हमारे इर्द गिर्द होती रहती है, हमें इनसे आगे बढ़ना है, देश को आगे बढ़ाना है.

जब तक हम एक साथ एक जुट होकर, एक जात, एक धर्म होकर आगे नहीं बढ़ेंगे तब तक हम, सिर्फ दुनियां की नजरो में भले ही अपना नाम रोशन कर ले, लेकिन सही मायनों में हम आगे नहीं बढ़ रहे है, बल्कि वही पर अटके है जहाँ से हमने शुरुआत की थी.

नफरत बुरी है न पालो इसे

दिलो में खलिश है तो निकालो इसे

न तेरा, न मेरा, न इसका, न उसका

ये सबका वतन है संभालो इसे

हमें दिखाना है जहाँ को की देखो हम एक है, एक घर में रहने वाले लड़ भी पड़ते है, झगड़ भी पड़ते है, लेकिन जब बात एकता की आती है तो सारा परिवार एक हो जाता है, और हमें भी तो यही सब दुनियां को दिखाना है.

माना की हमारे अपने मसले है, झगडे है लेकिन वो तो हम घर वाले घर में ही सुलझा लेंगे, दुनिया में नाम बदनाम मत करो.

क्योकि

कभी ठण्ड में ठिठुरते देखा है

कभी तपती धुप में जलते देखा है

कैसे करते है वो मुल्की की हिफाजत

हमने सरहद पर जाकर देखा है

कभी सोचा करो उनके बारे में जिन्होंने देश के लिए प्राण त्याग दिए, और आज भी सीमा पर खड़े है, देश की आन के लिए अड़े है, जिनके दिलो में भी है कितना प्यार मगर, रख सीने पे पत्थर खड़े है.

हमारा भाईचारा और एकता एकजुटता ही हमारा मकसद होना चाहिए, अब तक नहीं संभले मगर अब हमें संभलना होगा, एक दुसरे के साथ कंधे से कन्धा मिलाकर हमें सबको आगे लाना होगा, न द्वेष न मन में कोई मैल होगा, तभी तो हिन्दुस्तान महान होगा।

टूट गई गुलामी की जंजीरे

ख़ुशी का माहौल आया

संविधान का महत्तव समझाने

आज गणतंत्र आया

आज भारत में खुद का कानून है,  संविधान है, भारत गणतंत्र है और यही हमारी ताकत है, जिसे हमें इस कदर मजबूत बनाना है की फिर कोई हम पे राज न करे, बस करे तो सिर्फ हमारी बात करे.

आखिर में बस इतना कहूँगा की,

अनेकता में एकता ही हमारी शान है

गगन में लहराता तिरंगा हमारी आन है

हर दिल में बसता जहाँ हिंदुस्तान है

वो ही मेरा भारत महान है

जय हिन्द, वन्दे मातरम

26 January Bhashan Video


आइये दोस्तों अब आपको कुछ शायरी लिखवाते है जो आप भाषण में जोड़ सकते है, या अन्य किसी कार्यक्रम में ये देशभक्ति की शायरी बोल सकते है.

देशभक्ति की शायरी

1

वतन पे फ़ना होना है तो हो जाओ, पूछने की जरुरत नहीं है

मिले कफ़न बस तिरंगा है तमन्ना, कुछ और हसरत नहीं है

दिल से बस यही आवाज उठती है, वन्दे मातरम् जय हिन्द

चूम लूं ये जमीं आखरी सफ़र में, और कोई चाहत नहीं है

 

Watan pe fana hona hai to ho jao

Puchne ki jarurat nahi hai

Mile kafan bas tiranga hai tamanna

Kuch aur hasrat nahi hai

Dil se bas yahi aawaz uthati hai

Vande mataram jai hind

Choom loon ye zameen aakhri safar me

Aur koi chahat nahi hai


2

है दर्द उठता जिगर में जब, कोई अपमान करता है

देश की शान देश की आन, कोई बदनाम करता है

ये वतन हमारी माँ है इसके, आंचल तले हम पले

मिटा देंगे अगर हिमाकत कोई, ऐसी करता है

Hai dard uthata jigar me jab

Koi apmaan karta hai

Desh ki shan desh ki aan

Koi badnaam karta hai

 

Ye watan hamari maa hai iske

Aanchal tale hum pale

Mita denge agar himakat

Koi aisi karta hai

3

जख्म भरे नहीं है, पीर अभी ताजा है

कंधो पे उठाया, हमने वीरो का जनाजा है

ये वतनपरस्ती आम नहीं, ये तो खजाना है

तेरी मिट्टी ही तो मेरा, आखरी ठिकाना है

 

Zakhm bhare nahi hai

Pir abhi taaza hai

Kandho pe uthaya humne

Veero ka zanaza hai

 

Ye watanparasti aam nahi

Ye to khazana hai

Teri mitti hi to mera

Aakhri thikana hai

Desh Bhakti Poem

मिलती है ऐसी मौत किसे, है कौन नसीबो वाला ये

शेर कोई ये माँ का लाल, है भारत का रखवाला ये 

निडर है ये बहादुर है जो, सिने पे गोली खा बैठा

हर जनम अर्पित शीश करे, है सपूत कोई दिलवला ये

कफन तिरंगा मिलता जिसको, नाम अमर हो जाता है

हर हिन्दुस्तानी के मन को, वो माँ का लाल ही भाता है

शेरो सी जिनकी जवानी है, फौलाद इरादे तूफानी है

है ऐसी आंधी के दुश्मन को, ख़ाक बनाता जाता है

रग में ज्वाला सिने में तुफा, है गर्जन जिनकी बातों में

भारत माँ की लाज रही है, हरदम जिनके हाथों में

वो रक्षक वो पहरेदार है, आँखों में उनकी शोले है

दिन दुपहरी शाम सहर जो, जाग रहे है रातो में

written by: Hitesh Choudhary

Hi, I'm Hitesh Choudhary (Lyricist), founder of NVH FILMS. A blog that provides authentic information, tips & education regarding manch sanchalan, anchoring, speech & public speaking.

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