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श्री बजरंग बाण का पाठ – Bajrang Baan Paath | Bajrang Baan Lyrics

bajarang baan

Last updated on July 20th, 2024 at 03:54 pm

जैसे हम हनुमान चालीसा का पाठ करते है उसी तरह से बजरंग बाण का पाठ भी किया
जाता है, संकटो से रक्षा हेतु हम बजरंग बाण का पाठ करते है जिससे हनुमान जी से
हम रक्षा करने की प्रार्थना करते है, की हे प्रभु हमें मुसीबतों से बाहर
निकालो। 

हमारे प्यार बजरंग बली इतने दयालु और कृपालु है की भक्तों की रक्षा हेतु,
तुरंत ही दौड़े चले आते है, कहा जाता है की कलयुग में हनुमान जी साक्षात और अमर
है और वो सदा ही भक्तों को कष्टों से उबार लेते है। 

श्री बजरंग बाण का पाठ

 

श्री बजरंग बाण का पाठ इन हिंदी लिरिक्स

दोहा :

निश्चय प्रेम प्रतीति ते, बिनय करैं सनमान।

तेहि के कारज सकल शुभ, सिद्ध करैं हनुमान॥

चौपाई :

जय हनुमंत संत हितकारी। सुन लीजै प्रभु अरज हमारी॥

जन के काज बिलंब न कीजै। आतुर दौरि महा सुख दीजै॥

जैसे कूदि सिंधु महिपारा। सुरसा बदन पैठि बिस्तारा॥

आगे जाय लंकिनी रोका। मारेहु लात गई सुरलोका॥

जाय बिभीषन को सुख दीन्हा। सीता निरखि परमपद लीन्हा॥

बाग उजारि सिंधु महँ बोरा। अति आतुर जमकातर तोरा॥

अक्षय कुमार मारि संहारा। लूम लपेटि लंक को जारा॥

लाह समान लंक जरि गई। जय जय धुनि सुरपुर नभ भई॥

अब बिलंब केहि कारन स्वामी। कृपा करहु उर अंतरयामी॥

जय जय लखन प्रान के दाता। आतुर ह्वै दुख करहु निपाता॥

जै हनुमान जयति बल-सागर। सुर-समूह-समरथ भट-नागर॥

ॐ हनु हनु हनु हनुमंत हठीले। बैरिहि मारु बज्र की कीले॥

ॐ ह्नीं ह्नीं ह्नीं हनुमंत कपीसा। ॐ हुं हुं हुं हनु अरि उर सीसा॥

जय अंजनि कुमार बलवंता। शंकर सुवन बीर हनुमंता॥

बदन कराल काल-कुल-घालक। राम सहाय सदा प्रतिपालक॥

भूत, प्रेत, पिसाच निसाचर। अगिन बेताल काल मारी मर॥

इन्हें मारु, तोहि सपथ राम की। राखु नाथ मरजाद नाम की॥

सत्य होहु हरि सपथ पाइ कै। राम दूत धरु मारु धाइ कै॥

जय जय जय हनुमंत अगाधा। दुख पावत जन केहि अपराधा॥

पूजा जप तप नेम अचारा। नहिं जानत कछु दास तुम्हारा॥

बन उपबन मग गिरि गृह माहीं। तुम्हरे बल हौं डरपत नाहीं॥

जनकसुता हरि दास कहावौ। ताकी सपथ बिलंब न लावौ॥

जै जै जै धुनि होत अकासा। सुमिरत होय दुसह दुख नासा॥

चरन पकरि, कर जोरि मनावौं। यहि औसर अब केहि गोहरावौं॥

उठु, उठु, चलु, तोहि राम दुहाई। पायँ परौं, कर जोरि मनाई॥

ॐ चं चं चं चं चपल चलंता। ॐ हनु हनु हनु हनु हनुमंता॥

ॐ हं हं हाँक देत कपि चंचल। ॐ सं सं सहमि पराने खल-दल॥

अपने जन को तुरत उबारौ। सुमिरत होय आनंद हमारौ॥

यह बजरंग-बाण जेहि मारै। ताहि कहौ फिरि कवन उबारै॥

पाठ करै बजरंग-बाण की। हनुमत रक्षा करै प्रान की॥

यह बजरंग बाण जो जापैं। तासों भूत-प्रेत सब कापैं॥

धूप देय जो जपै हमेसा। ताके तन नहिं रहै कलेसा॥

दोहा :

उर प्रतीति दृढ़, सरन ह्वै, पाठ करै धरि ध्यान।

बाधा सब हर, करैं सब काम सफल हनुमान॥

 

श्री बजरंग बाण पाठ वीडियो

Hanuman Mantra मारुति स्तोत्र इन हिंदी लिरिक्स

भीमरूपी महारुद्रा वज्र हनुमान मारुती ।

वनारी अन्जनीसूता रामदूता प्रभंजना ॥१॥

महाबळी प्राणदाता सकळां उठवी बळें ।

सौख्यकारी दुःखहारी दूत वैष्णव गायका ॥२॥

दीननाथा हरीरूपा सुंदरा जगदंतरा ।

पातालदेवताहंता भव्यसिंदूरलेपना ॥३॥

लोकनाथा जगन्नाथा प्राणनाथा पुरातना ।

पुण्यवंता पुण्यशीला पावना परितोषका ॥४॥

ध्वजांगें उचली बाहो आवेशें लोटला पुढें ।

काळाग्नि काळरुद्राग्नि देखतां कांपती भयें ॥५॥

ब्रह्मांडें माइलीं नेणों आंवाळे दंतपंगती ।

नेत्राग्नी चालिल्या ज्वाळा भ्रुकुटी ताठिल्या बळें ॥६॥

पुच्छ तें मुरडिलें माथां किरीटी कुंडलें बरीं ।

सुवर्ण कटि कांसोटी घंटा किंकिणि नागरा ॥७॥

ठकारे पर्वता ऐसा नेटका सडपातळू ।

चपळांग पाहतां मोठें महाविद्युल्लतेपरी ॥८॥

कोटिच्या कोटि उड्डाणें झेंपावे उत्तरेकडे ।

मंदाद्रीसारखा द्रोणू क्रोधें उत्पाटिला बळें ॥९॥

आणिला मागुतीं नेला आला गेला मनोगती ।

मनासी टाकिलें मागें गतीसी तूळणा नसे ॥१०॥

अणूपासोनि ब्रह्मांडाएवढा होत जातसे ।

तयासी तुळणा कोठें मेरु- मांदार धाकुटे ॥११॥

ब्रह्मांडाभोंवते वेढे वज्रपुच्छें करूं शके ।

तयासी तुळणा कैंची ब्रह्मांडीं पाहतां नसे ॥१२॥

आरक्त देखिले डोळां ग्रासिलें सूर्यमंडळा ।

वाढतां वाढतां वाढे भेदिलें शून्यमंडळा ॥१३॥

धनधान्य पशुवृद्धि पुत्रपौत्र समग्रही ।

पावती रूपविद्यादि स्तोत्रपाठें करूनियां ॥१४॥

भूतप्रेतसमंधादि रोगव्याधि समस्तही ।

नासती तुटती चिंता आनंदे भीमदर्शनें ॥१५॥

हे धरा पंधराश्लोकी लाभली शोभली बरी ।

दृढदेहो निःसंदेहो संख्या चंद्रकला गुणें ॥१६॥

रामदासीं अग्रगण्यू कपिकुळासि मंडणू ।

रामरूपी अन्तरात्मा दर्शने दोष नासती ॥१७॥

॥इति श्री रामदासकृतं संकटनिरसनं नाम ॥

श्री मारुति स्तोत्रम् संपूर्णम्

Hanuman Mantra in Hindi / Sanskrit

भुत प्रेत बाधा दूर करने के लिए मंत्र चमत्कारी हनुमान मंत्र :

हनुमन्नंजनी सुनो वायुपुत्र महाबल:।

अकस्मादागतोत्पांत नाशयाशु नमोस्तुते।।

hanumananjani suno vayuputra mahabal:

aksmaadaagtotpaant naashyaashu namostute

भय को नाश करने के लिए श्री हनुमान मंत्र :

हं हनुमंते नम:

ham hanumante namh:

मनोकामना पूर्ण करवाने हेतु हनुमान जी का मंत्र  :

महाबलाय वीराय चिरंजिवीन उद्दते।

हारिणे वज्र देहाय चोलंग्घितमहाव्यये।।

mahabalaay veeray chiranjivin udhyte

haarine vajra dehaay cholanghitmahaavyaye

द्वादशाक्षर श्री हनुमान मंत्र :

ॐ हं हनुमते रुद्रात्मकाय हुं फट्।

Om ham hanumate rudraatmkaay hoon fhat

संकट और बाधाए दूर करने के लिए हनुमान मंत्र :

ऊँ नमो हनुमते रूद्रावताराय सर्वशत्रुसंहारणाय

सर्वरोग हराय सर्ववशीकरणाय रामदूताय स्वाहा

om namo hanumate rudraavataaray sarvshatrusanhaarnaay

sarvrog haraay sarvvashikarnaay raamdutaay swaha

कर्ज से मुक्ति के लिए मंत्र :

ऊँ नमो हनुमते आवेशाय आवेशाय स्वाहा।

om namo hanumate aaveshaay aaveshaay swaha

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About Hitesh Choudhary

Hi, I'm Hitesh Choudhary (Lyricist), founder of NVH FILMS. A blog that provides authentic information, tips & education regarding manch sanchalan, anchoring, speech & public speaking.

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